MP News : मध्य प्रदेश की भारतीय जनता पार्टी सरकार ने एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया है, जिसके तहत अब प्रदेश के मुख्यमंत्री और मंत्रियों को अपना इनकम टैक्स खुद भरना होगा। एमपी की मोहन यादव सरकार ने 52 साल पुराना नियम बदलते हुए यह निर्णय लिया है। इस फैसले से शासन पर किसी तरह का अतिरिक्त वित्तीय भार नहीं आएगा, जबकि पहले सरकार ही मंत्रियों और मुख्यमंत्री का इनकम टैक्स भरती थी।
52 साल पुराना नियम बदला
राज्य की मोहन यादव सरकार ने 1972 के पुराने नियम को बदल दिया है। भोपाल में मंगलवार को प्रदेश कैबिनेट की बैठक हुई, जिसमें कई महत्वपूर्ण प्रस्तावों को मंजूरी दी गई। इस बैठक में यह भी निर्णय लिया गया कि मंत्रियों का इनकम टैक्स अब सरकार नहीं भरेगी, बल्कि इसका भुगतान खुद मंत्रियों को करना होगा।
सरकारी खर्च में बचत
कैबिनेट की बैठक में मुख्यमंत्री डॉक्टर मोहन यादव ने यह सुझाव रखा, जिसे सभी सदस्यों ने सहमति दी। हर साल मुख्यमंत्री और मंत्रियों के इनकम टैक्स भरने में सरकार के करोड़ों रुपये खर्च हो जाते थे। लेकिन अब इस फैसले से सरकारी खर्च में भारी बचत होगी।
मुख्यमंत्री का बयान
बैठक के बाद मुख्यमंत्री मोहन यादव ने अपने बयान में कहा कि मंत्रिमंडल ने आज 1972 के नियम को खत्म करने का फैसला लिया है, जिसके तहत राज्य सरकार मंत्रियों के वेतन और भत्तों पर इनकम टैक्स का भुगतान करती थी। अब सभी मंत्री अपने वेतन और भत्तों पर खुद ही इनकम टैक्स का भुगतान करेंगे।
CM मोहन का सुझावः विजयवर्गीय
राज्य के नगर प्रशासन मंत्री और बीजेपी के वरिष्ठ नेता कैलाश विजयवर्गीय ने इस फैसले के बारे में बताया कि कैबिनेट की बैठक के दौरान मुख्यमंत्री मोहन यादव ने सुझाव दिया कि मंत्री अपना इनकम टैक्स खुद ही अदा करें। मुख्यमंत्री का यह सुझाव स्वीकार कर लिया गया और इस पर अहम फैसला ले लिया गया।